No 1 – क्या हम सभी को कुछ programming करके बनाया है ?
बचपन से हमारी सबकी ये programming करि गयी है बचपन से ही, competition की और comparison की, स्कूल में competition, घर में competition, भाई-बहन का आपस में competition – वो बहुत अच्छा है पढ़ाई में, तू बिलकुल बेकार है, वो कितना अच्छा खेलते है, तू क्यों नहीं खेल पाता, वो कितना अच्छा दिखता है तू इतनी अच्छी क्यों नहीं दिखती,
competition और comparison – इससे हुआ क्या हमारी mind की programming हो गयी, हम चाहा करके भी इस दुनिआ को बिना किसी competition के, बिना कोई अपने आपको किसी और से compare किए देख ही नहीं सकते, या तो हम किसी को अपने से compare करेंगे उसको अपने से ऊपर बिठा देंगे या उसको अपने से नीचे गिरा देंगे।
No 2 – Increase Your Intelligence
दोनों एक तरह की काम कर रहे है, आप जब भी उसकी गाड़ी को देखोगे तो क्या होगा – comparison आएगा की उसकी पास ये है, मेरे पास ये नहीं है, तो आपके अंदर एक desire उठेगा उस level पे,
बल्कि desire नहीं सबसे पहले एक wish उठेगी की काश मेरे पास भी एक ऐसी बड़ी गाड़ी हो, अब ये wish धीरे धीरे जब आप उस गाड़ी को देखते चले जाओगे, उसके बारे में सोचते चले जाओगे ये desire बन जाएगी।
No 3 – क्या आपकी ही Desire आपको फंसाता है ?
और हुआ क्या की आप गए और कुछ महीने बाद जा करके एक गाड़ी खरीद करके ले आयी finance कराके, आपकी इतनी capacity नहीं है उस गाड़ी को affort करने की, लेकिन desire बहुत strong था तो उसने वो करवा दिया काम आपसे,
अब जैसेही आपने finance कराई आपकी जो savings थी वो भी उस में लग गयी, plus monthly installments गयी, आपकी salary का एक बहुत बड़ा हिस्सा 20% या 30% उस installment में जाने लग गया आपका,

आपके अपने desire ने boss के through आपको फंसा दिया और उसके बाद में जैसे जैसे आप आगे बढ़ते चले जाओगे वहा पर जितना आपका torture होगा, वो torture आ कर आप कहा निकलोगे – अपने घर पे,
अपनी family पर गुस्सा करोगे, तुम्हे पता नहीं है मेरे पे कितना pressure है, मेरे पे कितना stress है, stress को create किसने किया, जहा आपकी desire की वजह से आपने अपनी चादर से ज्यादा पैर फैलाएंगे तो problem शुरू,
जहा आपने सवाल पूछा आप इस पूरी की पूरी problem से 1 सेकंड में बहार आ गए, आपके intelligence बीच में आगयी, वो आपको बचा सकता है, desire को उठने से पहले ही आपने ख़त्म कर दिया, आपने कहा मुझे गाड़ी नहीं चाहिए, मुझे आजादी चाहिए I need freedom,
की अगर मुझे उस job में मजा नहीं आ रहा और मुझे उस नौकरी को लात मारनी परे तो मैं 1 सेकंड भी न लगाओ लात मार दू, मुझे एक stress-free लाइफ चाहिए, मुझे एक tension-free लाइफ चाहिए, इन सब में कोई trap नहीं है,
No 4 – क्या आपको freedom चाहिए ?
बड़ी गाड़ी बेच दो छोटी गाड़ी ले लो, सारि problem solve, लेकिन हमारा दिमाग कभी इस direction में जायेगा ही नहीं, सारा का सारा जो खेल है वो मन का है, मन है problem.
No 5 – दिल की सुनो, वही आपको freedom दिलाएगा
लोग कर क्या रहे है अपने मन की सुन रहे है, मन से प्यार कर रहे है, भगवान से डर रहे है, करना क्या है इसका उल्टा भगवान से प्यार करना है और मन से डरना है, ये मन है जो हमको फंसा रहा है,

बीमार हो गए ये सोचो बीमार हो गए और जा करके भगवान के सामने बैठना है, ये सोचो की मैं बीमार क्यों हुआ ? for example – क्यूंकि जब मैं किसी शादी में गया या जब जाता था कही पर भी तो इतना सारा खाना देख करके मुझसे रहा नहीं जाता था, मेरा मन करता था की मैं सब कुछ खा लू,
हमने क्या किया हमने पेट की भूख को मिटाने की वजाये अपने मन की भूख को मिटाने की कोशिश करि जिसकी भूख कभी मिट ही नहीं सकती, खाते रहे खाते रहे, जा करके हॉस्पिटल में पोहुस गए,
अब भगवान को बोल रहा है – भगवान तूने ये क्या कर दिया ? वो भी हस्ता होगा वो कहता होगा भाई कर क्या रहा है, तू देख तो सही तेरा मन तुझसे क्या करवा रहे है, इस मन को वश में करना है।
No 6 – मन क्या है ?
मन है – desire और attachment, आप खुद एक चीज से एक situation से या एक इंसान से attach हो जाते हो, जहा आप उसके साथ में चिपक गए तो क्या होगा उसका सुख-दुःख आपका सुख-दुःख बन गया, वो मिला तो खुश, नहीं मिला तो परेशान, किसने कहा है चिपकने के लिए।
for example – अगर आपको उठा करके आपकी गाड़ी की वजह से आपके boss ने पिंजरे में दाल दिया, पिंजरा ही हो गया न, की न आप उस job में मजा आ रहा है न उसको छोड़ सकते हो न कर सकते हो,
बेमन के किसी काम को करोगे तो क्या तरक्की करोगे उसपर, कहा आगे बढ़ोगे, काम का असर किस पर आएगा relationship पर आएगा, सब कुछ जुड़ा हुआ है और हम फंसते ही चले जा रहे है,
हमे बनने की desire पैदा करने है, की मुझे कुछ बनना है, जो भी मैं आज हूँ उससे better बनना है, for example – मैं एक painter हु, तो मुझे एक better painter बनना है,
मुझे और चाहिए – ये खतरनाक desire है, आप at least कुछ questions पूछो।
No 7 – क्या आप अपने आपको Question करते हो ?
एक question पूछो अपने आपको की हम ये कर क्यों रहे है, की में अपने परोसी की गाड़ी को देख करके ये क्यों चाह रहा हूँ की मुझे भी वो गाड़ी चाहिए, ये मेरा अपना desire है या बचपन से मेरी ऐसी conditioning हुई परी है, बचपन से मेरी ऐसी programming हो गयी है,
क्या उस गाड़ी में बैठने के बाद में बहुत मजा आने वाला है, क्या वही ज़िंदगी है या ज़िंदगी कुछ और है,
पिंजरा जैसा मर्जी हो सोने का भी हो, है तो पिंजरा ही न, किसी भी चीज़ का desire एक सोने के पिंजरे जैसे है, जो हमको कैद कर देता है।
No 8 – आप Intelligent कैसे बन सकते हो ?
questioning पूछने का desire बढ़िया है आपके intelligent को बढ़ाएगा, किसी भी काम में आपको extra-ordinary होने के लिए आपको questions पूछना ही पड़ेगा,
अपने आपको better बनाना है, जिसको सवाल पूछने की आदत है, वो किसी भी field में चला जाये वो कामयाब जायेंगे, उसको कोई रोक नहीं सकता,
suppose दो इंजीनियर है I.I.T. के अंदर – एक है सिर्फ रट्टा मार रहा है, एक है जो इस फंदा को समझ रहा है, जिसको फंदा समझ आ गया वो किसी भी problem को solve सकता है,
लेकिन जिसने रट्टा मारा वो सिर्फ एक ही problem को solve कर सकता है, जिसने मारा उसका दिमाग सीधे है वो सिर्फ एक ही तरह की काम कर सकता है,
जिसने basics को समझ लिया वो कुछ भी कर सकता है और basics को वही समझ सकता है जो questioning पूछ सकता है, सही तरह की questions सही जगह पर पूछते चले जाना है पूछते चले जाना है, उसका mind sharp होता चला जायेगा।
”The important thing is not to stop questioning. Curiosity has its own reason for existing” – Albert Einstein
Wish You All The Very Best.